13 जनवरी 2000 से प्रकाशित

भारत की आतंकवाद के विरूद्ध मजबूत और संतुलित प्रतिक्रिया को व्यापक अंतरराष्ट्रीय समर्थन मिला

नई दिल्ली 2025-05-12

ब्रिटेन, रूस, अमरीका, इस्राइल, फ्रांस, संयुक्‍त अरब अमीरात, ईरान, कतर और यूरोपीय संघ सहित वैश्विक समुदाय ने आतंकी हमले के बाद भारत के साथ एकजुटता व्यक्त की है।

पहलगाम में 22 अप्रैल को हुए दुखद आतंकी हमले ने पूरे देश में आक्रोश पैदा कर दिया और भारत की ओर से कड़ी प्रतिक्रिया व्यक्त की गई।

भारत सरकार ने इस भीषण घटना के प्रति निर्णायक प्रतिक्रिया में, सीमा पार आतंकवाद के लिए पाकिस्तान के निरंतर समर्थन को लक्षित करते हुए कई कड़े उपाय किये। इनमें वर्ष 1960 की सिंधु जल संधि को तत्काल प्रभाव से स्थगित करना और एकीकृत जांच चौकी अटारी को बंद करना शामिल था।

भारतीय सशस्त्र बलों ने एक सीमित और सटीक सैन्य अभियान में, अपराधियों को दंडित करने तथा सीमा पार आतंकवाद को बढ़ावा देने वाले बुनियादी ढांचे को नष्ट करने के लिए ऑपरेशन सिंदूर शुरू किया। विस्तृत खुफिया जानकारी के बाद, पाकिस्‍तान के बहावलपुर और मुरीदके सहित नौ प्रमुख आतंकी शिविरों की पहचान की गई और समन्वित हवाई और जमीनी अभियानों के माध्यम से उन्हें नष्‍ट कर दिया गया।

इस मजबूत और संतुलित कार्रवाई ने अपनी संप्रभुता और नागरिकों की रक्षा करने के भारत के संकल्प की पुष्टि की। पाकिस्तान ने और अधिक नुकसान झेलने में असमर्थ होने पर युद्ध विराम की पहल की।

इसके अंतर्गत पाकिस्‍तान के सैन्य संचालन महानिदेशक ने भारतीय सैन्य संचालन महानिदेशक से संपर्क किया। पाकिस्तान ने शांति स्थापित करने के लिए अमरीका से भी संपर्क किया। दोनों पक्ष 10 मई को सैन्य कार्रवाई रोकने पर सहमत हुए।